भारतीय पत्रकारिता महोत्सव की सूफी संगीत संध्या ‘लागी तुमसे मन की लगन’
ब्यूरो चीफ गुलशन परुथी | इंदौर |
सूफी गायक कपिल पुरोहित और गायिका सिमरजीत कौर ने गीतों और भजनों से श्रोताओं को मंत्रमुग्ध कर दिया। स्टेट प्रेस क्लब मप्र द्वारा जाल ऑडिटोरियम में आयोजित तीन दिवसीय भारतीय पत्रकारिता महोत्सव के दूसरे दिन की शाम सूफी संगीत के नाम रही। इस अवसर पर सूफी गायक कपिल पुरोहित और सिमरजीत कौर ने गीतों और भजनों की ऐसी दमदार प्रस्तुति दी, जिसे संगीत प्रेमी लंबे समय तक अपनी यादों में संजोकर रखेंगे। दोनों कलाकारों ने सूफी गीत और भजन इतने अनोखे अंदाज और भाव में गाए कि श्रोताओं ने दिल खोलकर उनकी सराहना की।
‘लागी तुमसे मन की लगन‘ की यह सूफी संध्या शुरू से लेकर अंत तक दिल को छू लेने वाले गीतों और संगीत से भरपूर रही। स्टेट प्रेस क्लब मप्र के अध्यक्ष प्रवीण खारीवाल और नवनीत शुक्ला ने दीप प्रज्ज्वलित कर इस सूफी संगीत संध्या का शुभारंभ किया। मुख्य अतिथि संतोष सिंह व डॉ.जितेंद्र मतलानी रहे। सुदेश तिवारी व पुष्पक सोनी ने अतिथियों व कलाकारों का स्वागत किया। उसके बाद कपिल व सिमर ने ऐसे गीत गाए कि श्रोता अंत तक अपनी सीट से नहीं उठे। मैंने पिया है प्रेम का प्याला, काली जुल्फें, प्रेम के ये धागे, मेरा दिल तेरे प्यार में है, आ जा हमारे आंगन में, मन मेरा दीवाना है, इसी से शुरू हुआ गीतों व भजनों का सिलसिला, मेरी झोपड़ी का भाग्य आज खुलेगा।
श्रोताओं की फरमाइश पर दोनों गायकों ने अपनी मखमली व दमदार आकर्षक आवाज में मटकर माया का अहंकार से लेकर छाप तिलक सब छीनी, मेरे मौला मौला, तेरे नाम से जिलू, पल भर चैन न आए, राम राम जय राजा राम जैसे गीत गाकर सभी को सराबोर कर दिया। कपिल की खासियत यह है कि वह लंबे-लंबे सुर निकालते हैं और जिस सामान्य पिच में उनकी आवाज सुनाई देती है, उसी पर गाते हैं। यही वजह है कि वह कैलाश खेर व सुखविंदर सिंह जैसे महान गायकों के साथ पूरा न्याय कर पाते हैं। संगीत रूपक जाधव ने तैयार किया। संगतकार योगेश, सचिन, जयंत और प्रशांत थे। कार्यक्रम का संचालन जितेंद्र सिंह भाटिया ने किया और धन्यवाद ज्ञापन सुदेश तिवारी ने किया।